2 इतिहास, बाइबिल का तेरहवाँ ग्रंथ है, जो यहूदा राज्य के इतिहास को सुलैमान के बेटे रेहाबाम से लेकर बाबुल के निर्वासन तक का वर्णन करता है। यह पुस्तक 1 राजाओं और 2 राजाओं की सामग्री को पुनर्व्यवस्थित और विस्तारित करती है, साथ ही अतिरिक्त विवरण और सामग्री भी शामिल करती है।
भाग 1: सुलैमान के उत्तराधिकारी (अध्याय 1-9)
- रेहाबाम का शासन: सुलैमान के बेटे रेहाबाम का शासन और इस्राएल के विभाजन के बाद की घटनाएँ।
- अस्रा के शासनकाल: यहूदा के राजा अस्रा के शासनकाल और उसके सुधार कार्य।
भाग 2: यहूदा का उतार-चढ़ाव (अध्याय 10-24)
- यहोशापात का शासन: यहूदा के राजा यहोशापात का शासन और उसकी उपलब्धियाँ।
- आहाज और हीजकिय्याह का शासन: यहूदा के राजा आहाज और हीजकिय्याह के शासनकाल और उनके सुधार कार्य।
- मन्नाशे और आमोस का पाप: यहूदा के राजा मन्नाशे और आमोस के पाप और उनके परिणाम।
भाग 3: पतन और निर्वासन (अध्याय 25-36)
- यहूदा का बाबुल द्वारा विजय: यहूदा का बाबुल द्वारा विजय प्राप्त कर लिया जाना और यरूशलेम का नाश होना।
- यहूदा के लोगों का निर्वासन: यहूदा के लोगों का बाबुल में निर्वासन।
2 इतिहास पुस्तक यहूदा राज्य के इतिहास को एक धार्मिक परिप्रेक्ष्य से प्रस्तुत करती है, जिसमें परमेश्वर की आज्ञाकारिता और उसके परिणामों पर जोर दिया जाता है। यह पुस्तक इस्राएल के इतिहास में एक महत्वपूर्ण काल को समझने में मदद करती है।